Bawaseer को ही पाइल्स कहते हैं। आमतौर पर लोग पाइल्स के बारे में बात करने में शर्म महसूस करते हैं। यह बीमारी कभी भी किसी को भी हो सकती है।आमतौर पर ये 45 की उम्र के बाद होती हैं। इसके रोगी को सही समय पर पाइल्स का इलाज (Piles Treatment) कराना बेहद ज़रूरी होता है। अगर समय पर बवासीर का उपचार नहीं जाता है तो तकलीफ काफी बढ़ जाती है।
पाइल्स (बवासीर) क्या है ? piles (Bawaseer) meaning :-
इस बीमारी में मलद्वार वाली जगह में खून की नसों में सुजन आ जाती हैं।और गुदा के अन्दर और बाहर, या किसी एक जगह पर मस्से बन जाते हैं। जिससे इन्सान को नियमित कार्य करने में मुश्किल का सामना करना पड़ता है। यह बीमारी बहुत पुराना होने पर यह भगन्दर का रूप धारण कर लेता है।इसमें बहुत ही ज्यादा जलन एवं पीड़ा होती है।यह बीमारी अनुवांशिक भी है।

Bawaseer (पाइल्स) के प्रकार :-
आमतौर पर बवासीर (पाइल्स) दो प्रकार की होती हैं। पहला आम बवासीर होता हैं। इसमें मस्से से खून नहीं आता हैं। मगर हम उनको देख सकते हैं। इसमें भी मलत्याग करते समय असहनीय पीड़ा होती हैं। दूसरा खुनी बवासीर होता हैं।इसमें मस्से से खून आता हैं।कभी खून मल के साथ थोड़ा-थोड़ा आता है।कभी कभी पिचकारी के रूप में आता हैं।
पाइल्स (बवासीर)होने के कारण :-
- यह बीमारी अनुवांशिक भी हो जाता हैं।
- कब्ज का रहना या शौच ठीक से ना होना।
- गरिष्ठ भोजन का करना या अधिक तेल एवं मिर्च-मसाले वाला भोजन करना।
- ज्यादा मिट मछली का भोजन में खाना।
- अनियमित दिनचर्या
- धूम्रपान और शराब का ज्यादा प्रयोग करना।
Bawaseer (पाइल्स) के लक्षण (piles symptoms):-
- मलत्याग करते समय असहनीय पीड़ा का होना।
- मलत्याग करते समय खून का आना।
- खुजली का होना।
- थकान और चक्कर आना।
बवासीर (Piles) के घरेलु इलाज (piles treatment):-
इस बीमारी के होने पर हम शर्म महसूस करते हैं। और डॉक्टर के पास नहीं जाते हैं। हम आज आपको इसके घरेलु इलाज के बारे में बता रहे हैं। आप कोई भी उपाय करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह जरूर कर ले …….
मूली :-
आप मूली को नमक के साथ खा भी सकते हैं। और आप इसका रस निकालकर नमक मिलकर दिन में दो बार सेवन भी कर सकते हैं।
Bawaseer का अच्छा इलाज छाछ :-
छाछ इस बीमारी का अच्छा इलाज हैं। आप छाछ में अजवान और नमक मिलाएं और इसे प्रतिदिन पिए। इससे आप को जल्दी ही आराम मिलेगा ।
एलोवेरा :-
एलोवेरा प्राकर्तिक रूप से सूजन और जलन को कम करता हैं। आप एलोवेरा के रस को निकालकर प्रभावित स्थान पर लगा सकते हैं।
जैतून का तेल :-
जैतून का तेल भी प्राकर्तिक रूप से सूजन और जलन को कम करता हैं। जैतून के तेल को बवासीर के मस्सों पर लगा सकते हैं। इससे आपको आराम मिलेगा।
इसबगोल :-
इसबगोल इस बीमारी का अच्छा इलाज हैं।यह कबज को कम करता हैं। और मलत्याग के समय होने वाले दर्द को भी कम करता हैं। आप इसबगोल को दूध या पानी में मिलकर रात को सोते समय पिए।
अन्य इलाज :-
आप फाइबर तथा रेसेदार भोजन का प्रयोग करे। अंजीर और खजूर को खाने में शामिल करे। खूब पानी पिए।
आप इस बीमारी में घबराये या शर्माए नहीं। ज्यादा तकलीफ होने पर डॉक्टर के पास जल्दी से जल्दी जाये। और समय पर अपना इलाज जरूर करवाए।
FAQ
Q. पाइल्स (बवासीर) क्या है ?
Ans. यह मलद्वार पर होने वाली बीमारी हैं।
Q. क्या इसका घरेलु इलाज हो सकता हैं ?
Ans. जी हाँ इसका घरेलु इलाज हो सकता हैं।
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